Kripalu Harmonium & Dholak Lessons
कुँवरि बिनु, पल छिन कल न परे । प्रेम रस मदिरा ॥ मान माधुरी pg no 321
युगल रस वृन्दावन बरसे
मिलत नहीं नर तनु बारम्बार
Fikir mohi kahe ki shree radhe hamari sarkar
पिय प्यारी पिय प्यारी ब्रज रस माधुरी pg no 187
ऐसी पिलादे साकी
बनहुँ कब ! प्रेम सरोवर मीन
हरे राम महामन्त्र Low scale मा
युगल रस वृन्दावन बरसे
हमारे मन बसे युगल सरकार
अहो हरि ! ओहू दिन कब ऐहै
Thakur yugal kishor hamaro
Guruh kripalurmam sharanam
Mere guruvar bhakti ras avataar
वृषभानु ललीहिं उर आनिये
प्यारी प्यारी की जै सुकुमारी की जै
मन करू सुमिरन राधे रानी के चरन
भजु राधे गोविन्द घनश्याम रे ॥ प्रेम रस मदिरा प्रकीर्ण माधुरी pg no 479
मेरो गोपाला मेरो नन्दलाला
बिट्ठल बिट्ठल बिट्ठला - ब्रजरस माधुरी pt 1
मेरो मन में समाय गयो साँवरिया - ब्रजरस माधुरी pg no 57
मेरे प्रानन प्यारे आजा - ब्रजरस माधुरी pt 1॥ pg 47
मैं तो राधे राधे गाउँ कालिन्दी तट पै - ब्र . रस . मा pt 1 pg 138
बाँके बिहारी जू पै वारी -४ /ब्रज रस माधुरी pt 1 / pg no 49
अँखिया सखि या रूप लुभानी
तुम मेरे थे मेरे हो
Mero radha raman chitchor
Nit sewa maangun
Jai ho jai ho jai ho barsanewari pyari
युगल माधुरी pg no 180