Pushtiswadhyay - Goswamy ShriShyammanoharji
जयति श्रीवल्लभार्यो जयति च विट्ठलेश्वरःप्रभुः श्रीमान्|
पुरुषोत्तमश्च तैश्च निर्दिष्टा पुष्टिपद्धतिर्जयति॥
श्रीवल्लभमताभ्यासे कृपया येन दीक्षितः॥
दीक्षितं तमहं नौमि श्रीतातचरणं सदा॥
श्रीवाक्पतेर्वागनुगामिनां वै सद्यःस्वकर्तव्यविनिश्चयाय|
कृतो मया तद्वचनानुवादः पुष्पोपहारोपम एष नूनम्|
स्वलाभपूजार्थपरायणानां तदीयसिद्धान्तविलोपकानाम्|
भवेत् खलानां खलु मस्तकेषु पदप्रहारोपम एषएव॥
भक्तिवर्धिनी प्रवचन के अंश(Instagram Highlights)
प्रभु प्राकट्य पुर्व बोले जानेवाले जन्माष्टमी के श्लोक #goswamyshyammanoharji
03NandNandanBhajBhajMannMara
पुरुषोत्तमकु कामनासू भजनों अन्याश्रय हे.#goswamyshyammanoharji
Q & A On Bhagvad Gita_Chapter_2 #goswamyshyammanoharji
जहाँ से वैष्णव धर्मकी यात्रा शुरू हुई थी हमने धर्म को पाछो वही पहोचा दियो हे.#goswamyshyammanoharji
जीने के लिए कृष्णकी आवश्यकता नहीं है, कृष्णके लिए जीने की आवश्यकता है #goswamyshyammanoharji
शुद्धाद्वैत समझने के लिये रसमलाई रसीलो उदाहरण है.#goswamyshyammanoharji
નંદોત્સવ ઐતહાસિક નહિ પણ શાશ્વત છે.#goswamyshyammanoharji
प्रभु प्राकट्य पुर्व बोले जानेवाले जन्माष्टमी के श्लोक और विवेचन#goswamyshyammanoharji
निरोध लीला कृष्णकी भक्त और भक्तकी कृष्णके साथ दिव्य पागलपन की लीला है.#goswamyshyammanoharji
जहासू मुक्ति खतम होवे वहासू भगवानको चरण शुरू होवे है.#goswamyshyammanoharji
अपने ठाकूरजीकु आधुनिक पूतनाके विषसू बचाओ.#goswamyshyammanoharji #pushtimarg
મૂર્તિમાં એ સામર્થ્ય નથી કે એ ભગવાન બની શકે, ભગવાનમાં એ સામર્થ્ય છે કે એ મૂર્તિ બની શકે.#pushtimarg
तुम तनुवित्तजाके भागला कर रहे हो तो तुम पूतना हो. #goswamyshyammanoharji #pushtimarg
बालक वसुदेव स्थानी है जो ठाकुरजी पुष्ट करे है . वैष्णव नन्द स्थानी है जो लालन पालन करे है.#shorts
दशम स्कंध में वर्ण्यमान लीला को सिंहासन तृतीय से नवम् स्कंध है.#goswamyshyammanoharji #krishna
Q &A On Bhagvad Gita (English)#goswamyshyammanoharji
भागवत की कथा प्रत्येक पुष्टिमार्गिय की कथा है,अपन सब परिक्षित है.#goswamyshyammanoharji #pushtimarg
આદેશ સદ્ધર્મનો પાયો છે , અતિદેશ તેના પર ચણાયેલું ભવન છે.#goswamyshyammanoharji #pushtimarg
श्रीसुबोधिनी केवल व्याख्या नहीं पर श्रीमहाप्रभुजीके उद्गार है .#goswamyshyammanoharji
ધર્મ ના આચરણ માં સ્પર્ધાનો ભાવ રાખવો જોઇએ નહીં પણ મૈત્રી નો ભાવ રાખવો જોઈએ.#pushtimarg
आत्मनिवेदन करो आत्महनन नहीं #goswamyshyammanoharji
नृसिहजी ने भक्त होनेको अह्लाद प्रह्लादमें स्थापित कियो है.#goswamyshyammanoharji
કૂંઠાથી છુટકારો પામ્યા વિના વૈકુંઠ નાયક ની સેવા નથી કરી શકતા#goswamyshyammanoharji #pushtimarg
मेरी सुगंध मेरी सेवा और कथा है जो बेची नहीं जा सके है.#goswamyshyammanoharji
में अपने आनंद और परमानंदको नहीं बेचूँगा.#goswamyshyammanoharji
जिन्हें तुझीसे है सिर्फ़ निस्बत वो तेरी जन्नत को क्या करेंगे.#goswamyshyammanoharji
कुछ न कुछ तो ज़रूर होना है,आज सेवा हमसे होनी है #goswamyshyammanoharji
“अङ्गीकृत्यैव गोपीश-वल्लभीकृत-मानव:”