शिवजी ने बताया, क्यों औलाद बुढ़ापे में माता-पिता को अकेला छोड़ देती है? | Gyanvardhak Kahani
Автор: Devotional Bhakti • 9 lakh views • 7 hours ago
Загружено: 2025-12-01
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हर हर महादेव।
दोस्तों, बुढ़ापा जीवन की वह सच्चाई है जिससे कोई मुँह नहीं मोड़ सकता। यह वह समय है जब इंसान को सबसे ज़्यादा अपनों के साथ और सहारे की ज़रूरत होती है। लेकिन अक्सर ऐसा क्यों होता है कि जिन बच्चों को माता-पिता अपना पूरा जीवन देकर पालते-पोसते हैं, वही बच्चे बुढ़ापे में उन्हें बोझ समझने लगते हैं और अकेला छोड़ देते हैं?
आज की इस ज्ञानवर्धक कथा में, भगवान शिव स्वयं देवर्षि नारद को एक घमंडी राजकुमारी की कहानी सुनाकर इस गहरे प्रश्न का उत्तर देते हैं। यह कहानी न केवल आपको यह बताएगी कि संतान ऐसा व्यवहार क्यों करती है, बल्कि यह भी सिखाएगी कि कर्मों का फल कैसे मिलता है और माता-पिता का सम्मान करना क्यों हमारा परम धर्म है।
यह दिल छू लेने वाली और आँखें खोल देने वाली कहानी अंत तक ज़रूर सुनें। हमें विश्वास है कि यह कथा आपके जीवन में एक सकारात्मक बदलाव लाएगी।
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